The National Council of Educational Research and Training (NCERT) is an autonomous body of the Indian government that formulates the curricula for schools in India that are governed by the Central Board of Secondary Education (CBSE) and certain state boards. Therefore, students who will be taking the Class 10 tests administered by various boards should consult this NCERT Syllabus in order to prepare for those examinations, which in turn will assist those students get a passing score. Show
When working through the exercises in the NCERT textbook, if you run into any type of difficulty or uncertainty, you may use the swc NCERT Solutions for class 9 as a point of reference. While you are reading the theory form textbook, it is imperative that you always have notes prepared. You should make an effort to understand things from the very beginning so that you may create a solid foundation in the topic. Use the NCERT as your parent book to ensure that you have a strong foundation. After you have finished reading the theoretical section of the textbook, you should go to additional reference books. 1. कांजीहौस में क़ैद पशुओं की हाजिरी क्यों ली जाती होगी? उत्तर:- कांजीहौस में कैद पशुओं की हाज़िरी ली जाती है। इससे पशुओं की संख्या की जानकारी होती है ताकि कोई जानवर अगर कैद से भाग जाए तो तुरन्त पता लगाया जा सके। 2. छोटी बच्ची को बैलों के प्रति प्रेम क्यों उमड़ आया ? उत्तर:- छोटी बच्ची का बैलों के प्रति प्रेम उमड़ने
के निम्नलिखित कारण हैं – 3. कहानी में बैलों के माध्यम से कौन-कौन से नीति-विषयक मूल्य उभरकर आए हैं ? उत्तर:- (1) ”दो बैलों की कथा” के माध्यम से लेखक ने पशुओं तथा मनुष्यों के बीच भावनात्मक सम्बन्धों का वर्णन किया है। 4. प्रस्तुत कहानी में प्रेमचंद ने गधे की किन स्वभावगत विशेषताओं के आधार पर उसके प्रति रूढ़ अर्थ ‘मूर्ख’ का प्रयोग न कर किसी नए अर्थ की ओर संकेतकिया है ? उत्तर:- गधे को स्वभाव के कारण मूर्खता का पर्याय समझा जाता है। उसके स्वभाव में सरलता और सहनशीलता भी देखने मिलती है। इस कहानी में लेखक ने गधे की सरलता और सहनशीलता की ओर हमारा ध्यान खींचा है। प्रेमचंद ने स्वयं कहा है – “सदगुणों का इतना अनादर कहीं नहीं देखा। कदाचित सीधापन संसार के लिए उपयुक्त नहीं है।” कहानी में भी उन्हों ने सीधेपन की दुर्दशा दिखलाई है, मूर्खता की नहीं। 5. किन घटनाओं से पता चलता है कि हीरा और मोती में गहरी दोस्ती थी ? उत्तर:- दो
बैलों की कथा नामक पाठ में एक नहीं अनेक घटनाएँ हैं, जिनसे पता चलता है की हीरा और मोती में गहरी दोस्ती थी। 6. “लेकिन औरत जात पर सींग चलाना मना है, यह भूल जाते हो।” – हीरा के इस कथन के माध्यम से स्त्री के प्रति प्रेमचंद के दृष्टिकोण को स्पष्ट कीजिये। उत्तर:- प्रेमचंद के मन में नारी जाति के प्रति सम्मान की भावना थी। नारी का स्थान समाज में सर्वोपरि है, वह पूजनीय है। इसलिए नारी पर प्रहार करने को अमानवीय कहा गया है। प्रेमचंद ने अपनी रचनाओं में स्त्री पात्र का आदर्श रुप प्रस्तुत किया है तथा इन्होंने स्त्री प्रधान रचनाएँ भी की हैं। इससे यह स्पष्ट है कि नारी के प्रति प्रेमचंद का दृष्टिकोण अत्यंत व्यापक है। 7. किसान जीवन वाले समाज में पशु और मनुष्य के आपसी संबंधों को कहानी में किस तरह व्यक्त किया गया है ? उत्तर:- पशु आदिकाल से ही मनुष्यों के साथी रहे हैं। 8. इतना तो हो ही गया कि नौ दस प्राणियों की जान बच गई। वे सब तो आशीर्वाद देंगे ‘ – मोती के इस कथन के आलोक में उसकी विशेषताएँ बताइए। उत्तर:- मोती के उक्त कथन के आलोक में उसकी निम्नलिखित विशेषताएँ प्रकट होती हैं – आशय स्पष्ट कीजिए – उत्तर:- हीरा और मोती बिना कोई वचन कहे एक-दूसरे के मन की बात समझ जाते थे। प्रायः वे एक दूसरे से स्नेह की बातें सोचते थे। यद्दपि मनुष्य स्वयं को सब प्राणियों से श्रेष्ठ मानता है किंतु उसमें भी ये शक्ति नहीं होती कि वह दूसरों के मनोभावों को समझ सके। 9.2 उस एक रोटी से उनकी भूख तो क्या शांत होती; पर दोनों के ह्रदय को मानो भोजन मिल गया। उत्तर:- हीरा और मोती गया के घर बंधे हुए थे। गया ने उनके साथ अपमान पूर्ण व्यवहार किया था। इसलिए वे क्षुब्ध थे। परन्तु तभी एक नन्हीं लड़की ने आकर उन्हें एक रोटी ला दी। यद्यपि इससे हीरा-मोती की भूख कम नहीं हो सकती थी, तथापि उन्होंने बालिका के प्रेम का अनुभव कर लिया और प्रसन्न हो उठे। 10. गया ने हीरा-मोती को दोनों बार सूखा भूसा खाने के लिए दिया क्योंकि – उत्तर:- ग. वह हीरा-मोती के व्यवहार से बहुत दुखी था। • रचना-अभिव्यक्ति उत्तर:- हीरा और मोती शोषण के विरुद्ध हैं वे हर शोषण के विरुद्ध आवाज़ उठाते रहे हैं। उन्होंने झूरी के साले गया का विरोध किया तो सूखी रोटियाँ और डंडे खाए फिर काँजीहौस में अन्याय का विरोध किया और बंधन में पड़े। मेरे विचार से उन्होंने शोषण का विरोध करके ठीक किया क्योंकि शोषित होकर जीने का
क्या लाभ। 12. क्या आपको लगता है कि यह कहानी आज़ादी की कहानी की ओर भी संकेत करती है ? उत्तर:- यह कहानी अप्रत्यक्ष रूप से आज़ादी के आंदोलन से जुडी है यह कहानी दो बैलों से सम्बंधित है। दोनों बैल संवेदनशील और क्रांतिकारी भारतीय है। दोनों मिलकर आज़ादी पाने के लिए संघर्षरत रहते हैं। ये अपने देश (झूरी के घर) से बहुत प्रेम करते हैं। उन्हें दूसरे देश में (घर में) रहना पसंद नहीं। स्वदेश जाने के लिए वे हर बाधा का डटकर सामना करते हैं। भूखे – प्यासे रहना पड़ता है, कैद में रहना पड़ता है। ये हमारे क्रांतिकारियों की लड़ाई याद दिला देते है • भाषा-अध्ययन उत्तर:- ‘ ही ‘ निपात – ‘ भी ‘ निपात – SWC academic staff has developed NCERT answers for this chapter of the ninth grade Hindi curriculum. We have solutions prepared for all the ncert questions of this chapter. The answers, broken down into steps, to all of the questions included in the NCERT textbook’s chapter are provided here. Read this chapter on theory. Be certain that you have read the theory section of this chapter of the NCERT textbook. छोटी बच्ची के मन में बैलों के प्रति प्रेम क्यों उमड़ आया?उत्तर: छोटी बच्ची की माँ मर चुकी थी। वह माँ के बिछुड़ने की दर्द जानती थी। इसलिए जब उसने हीरा-मोती की व्यथा देखी तो उसके मन में उनके प्रति प्रेम उमड़ आया।
कहानी में बैलों के माध्यम से कौन कौन से नीति विषयक मूल्य उभर कर आए हैं?इस कहानी के माध्यम से निम्नलिखित नीति विषयक मूल्य उभरकर सामने आए हैं :. विपत्ति के समय हमेशा मित्र की सहायता करनी चाहिए।. आजादी के लिए हमेशा सजग एवं संघर्षशील रहना चाहिए।. अपने समुदाय के लिए अपने हितो का त्याग करने के लिए तैयार रहना चाहिए।. आज़ादी बहुत बड़ा मूल्य है।. कांजीहौस में कैद पशुओं की हाजिरी क्यों ली जाती होगी छोटी बच्ची को बैलों के प्रति प्रेम क्यों उमड़ आया?1. कांजीहौस में कैद पशुओं की हाज़िरी इसलिए ली जाती होगी ताकि कैद पशुओं की संख्या का पता चल सके और पता लगाया जा सके की उनमें से कोई भाग या मर तो नहीं गया है। इसलिए जब उसने हीरा-मोती की व्यथा देखी तो उसके मन में उनके प्रति प्रेम उमड़ आया।
दो बैलों की कथा कहानी में अगर आप हीरा मोती की जगह होते तो आप क्या करते?निःस्वार्थ परोपकार की भावना-हीरा और मोती कांजीहौस की दीवार गिराकर अधमरे जानवरों को भगाकर निःस्वार्थ परोपकार करते हैं। ऐसा करते हुए वे स्वयं बंधन में पड़े रह जाते हैं। नारी जाति को सम्मान-हीरा और मोती नारी का सम्मान करते हैं।
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