मुंह के कैंसर का पता कैसे लगाएं? - munh ke kainsar ka pata kaise lagaen?

कैंसर एक ऐसी खतरनाक बीमारी है, जिससे शरीर के किसी भी हिस्से की कोशिकाएं अनियंत्रित रूप से विभाजित होने लगती हैं। कैंसर (Cancer) शरीर के एक हिस्से से दूसरे हिस्सों में फैलता है कैंसर के शुरुआती लक्षणों को अगर पहचान लिया जाये तो इसे खतरनाक स्थिति तक पहुंचने से रोका जा सकता है।

इसके शुरुआती लक्षणों को जानने के बाद इसके उपचार में आसानी होती है।कैंसर के आम लक्षण हैं वजन में कमी, बुखार, भूख में कमी, हड्डियों में दर्द, खांसी या मूंह से खून आना. अगर किसी भी व्यक्ति को ये लक्षण दिखाई देते हैं, तो उसे तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।

कैंसर के लक्षण

  1. कोई भी गाँठ जो तेजी से बड़ी हो रही है वह कैंसर हो सकता है , उसे हमे डॉक्टरी सलाह से निदान करना पड़ता है।कोई भी जखम भर नहीं रहे है उसमे कैंसर होने की संभावना होती है। इस डॉक्टरी जांच और सलाह लेना बहुत जरुरी है।
  2. किसी व्यक्ति हो मेहेनोसे खासी आह रही हो , और उसमे खून आ रहा हो तो , इसके साथ ही साथ अगर व्यक्ति का वजन।
  3. घटता जा रहा है और आवाज में बदलाव है तोह शायद से उस व्यक्ति हो फेफड़ो की कैंसर होनेके लक्षण है।
  4. अगर किसीको पेट में गड़बड़ यनेके excessive loose motions या constipation और जुलाब में खून जा रहा है तोह यह भी एक लक्षण है।
  5. अगर किसीको पेट में बोहोत ज्यादा दर्द हो रहा है, उसके साथ jaundice हो गया है और वजन भी कम हो रहा है तो यह भी एक लक्षण है।
  6. शरीर पे बोहोत सारे मस्से होते है जिसको moles बोला जाता है। इस मस्से में जब कुछ बदलाव दिखाई देते है मतलब अगर उसके आजुबाजु और भी मस्से आ रहे है , या उसे खून निकलने लगता है या उसके आस पास गाँठे हो जाती है तो यह शायद कैंसर का लक्षण हो सकता है और तुरंत आपको डॉक्टर के पास जाना है।
  7. अगर पेशाब में से खून जा रहा है और दर्द नहीं हो रहा है तो यह कैंसर का लक्षण है।
  8. अगर किसी व्यक्ति को तम्बाखू खाने की आदत हो पर अब खाना खाने में दिख्खत आ रही हो या साइन में दर्द हो रहा है कहते वक्त।

तो यह कुछ सामान्य symptoms है जो कैंसर के symptoms हो सकते है. ये सब symptoms दिखने जांच करना बहोत आवश्यक है। अगर अपने आप वजन कम हो रहा है बिना कुछ किये। अगर १० % ज्यादा ६ महीने में वजन कम हो या बिना किसी कारन anemia , hemoglobin बढ़ रहा है , पेशिया क़म ज्यादा हो रही है तो डॉक्टरी जांच करवाना जरुरी है क्युकी कैंसर की सम्भावना हो सकती है।अगर आपको कैंसर के ये लक्षण नज़र आएँ तो आप तुरंत इसकी जाँच करवाएँ.कैंसर का पता अगर शुरुआती दौर में चल जाए तो इसके इलाज़ के सफल होने की संभावना ज़्यादा होती है।

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    भारत में मुंह के कैंसर के मामले सबसे अधिक देखने को मिलते हैं। यह कैंसर पुरुषों को ज्यादा होता है। मुंह के कैंसर की पहचान सामान्य जांच से हो जाती है, पर दुखद है कि मौजूदा मुख कैंसर रोगियों में से 65 से 70 फीसद मरीज अंतिम चरणों में हैं। इसके भी कई कारण हैं। दुनियाभर में हर साल करीब दो लाख मौतें मुख कैंसर की वजह से होती हैं। अकेले भारत में यह संख्या 45 से 50 हजार प्रतिवर्ष है। निम्न आय वर्ग में इसके मामले अधिक देखने को मिलते हैं। इतना ही नहीं, 10 से कम उम्र के बच्चों में भी इसके मामले सामने आए हैं।

    ये हैं कारण

    तंबाकू: मुंह के कैंसर के 90 फीसदी मामले तंबाकू चबाने या धूम्रपान करने की वजह से होते हैं। हमारे आंकड़ों के अनुसार 15 से 49 आयु के 57 फीसद पुरुष और 11 फीसद महिलाएं धूम्रपान करती हैं। भारत में बीड़ी, हुक्का, धूमती, चुट्टा और हुकली का इस्तेमाल होता है। दिनभर में कितनी बीड़ी/सिगरेट पी रहे हैं या फिर कितनी छोटी उम्र से धूम्रपान कर रहे हैं, ये सब मायने रखता है। पान मसाला, गुटखा या चबाई जाने वाली दूसरी चीजें हालांकि धूम्रपान की श्रेणी में नहीं आते, पर इनकी लत धूम्रपान की तुलना में अधिक होती है। मुख कैंसर के 50 फीसदी मामले चबाने वाले तंबाकू के कारण होते हैं।

    एल्कोहल: ये भी मुख कैंसर की एक वजह है। धूम्रपान व शराब दोनों लेने वालों में कैंसर का जोखिम 30 गुणा ज्यादा होता है। एक शोध के अनुसार मुख कैंसर की आशंका 123 गुणा तक बढ़ जाती है, अगर धूम्रपान, शराब व तंबाकू तीनों का सेवन किया जाता है।

    सुपारी: सुपारी को गुटखा के रूप में बेचा जाता है। भारत, पाकिस्तान, श्रीलंका, बांग्लादेश, ताइवान और चीन में इसे खूब खाया जाता है। सुपारी में एरेकोलाइन तत्व होता है, जो कैफीन, एल्कोहल और निकोटिन के बाद उत्तेजक पदार्थो में चौथे नंबर पर गिना जाता है। आमतौर पर सुपारी को पाचन और सूजन व दर्द में अच्छा माना जाता है, पर इसकी लत होना अच्छा नहीं है।

    मुंह की ढंग से सफाई ना करना: मुख कैंसर की एक वजह मुंह की ढंग से साफ-सफाई ना करना है। इस कारण पुरुषों में 32 फीसदी व महिलाओं में 64 फीसदी मुख कैंसर की आशंका बढ़ जाती है। खराब फिटिंग वाले डेंचर लगाना भी जोखिम बढ़ाता है।

    खान-पान: रेड मीट, प्रोसेस्ड उत्पाद और अधिक मसालेदार भोजन भी मुख कैंसर के जोखिम को बढ़ाते हैं। पर आहार में फल व हरी पत्तेदार सब्जियों से मिलने वाले फाइबर की कमी ज्यादा नुकसान पहुंचाती है। ग्रीन टी लेना भी मुख कैंसर की रोकथाम में सहायक है।

    लक्षण

    • दवा लेने के बावजूद मुंह में अल्सर का ठीक ना होना
    • मुंह में लाल व सफेद चकत्ते दिखना
    • लगातार कान में दर्द रहना
    • निगलने में परेशानी होना
    • दांत ढीले होना या डेंचर की खराब फिटिंग होना
    • आवाज बदलना
    • निचले होठ या ठोड़ी में सुन्नता का एहसास होना
    • गर्दन में गांठ बनना 

    उपचार

    सर्जरी जरूरी है

    रोग किस स्टेज पर है, इसके अनुसार रेडियोथेरेपी और कीमोथेरेपी की मदद ली जाती है। इस उपचार के दौरान मरीज का चेहरा थोड़ा- सा बिगड़ता है और उसे बोलने व निगलने में समस्या आती है। पर इससे उबरा जा सकता है। आधुनिक प्लास्टिक एंड रिकंस्ट्रक्टिव सजर्री, एनिस्थीसिया और इंनटेसिव केयर से चेहरे को वापस ठीक कर सकते हैं। नई तकनीक लिक्विड बायोप्सी भी चलन में है।

    ध्यान दें

    • ’बायोप्सी के कारण कैंसर नहीं फैलता। बायोप्सी की प्रक्रिया के दौरान उस खास हिस्से की सूजन ज्यादा बढ़ जाती है, पर वह कुछ समय के लिए ही होता है। टय़ूमर के प्रकार को जानने, उपचार व सजर्री के लिए यह प्रक्रिया जरूरी है।’
    • शुरुआती स्तर पर मुख कैंसर की पहचान होने और इसके उपचार की सफलता दर 85 प्रतिशत है।’
    • तंबाकू और एल्कोहल का सेवन बंद कर देने से ही तुरंत कैंसर का जोखिम जीरो नहीं हो जाता। धूम्रपान करने वाले किसी व्यक्ति को वापस सामान्य स्थिति में आने में समय लग जाता है।’
    • कम टार या कम निकोटिन वाली सिगरेट भी सुरक्षित नहीं हैं। इसी तरह हर्बल सिगरेट में भी भले ही तंबाकू नहीं होता, पर उनसे भी कार्बन मोनोऑक्साइड और टार मिलता है।’
    • एक घंटा हुक्का पीना करीब सौ सिगरेट पीने के समान है।

    (लेखिका, बीएलके सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल में वरिष्ठ ओंकोलॉजिस्ट हैं)

    मुंह के कैंसर के शुरुआती लक्षण क्या है?

    मुंह के कैंसर के लक्षण.
    होंठ या मुंह का घाव जो ठीक न हो रहा हो।.
    मुंह के अंदर सफेद या लाल रंग के पैच नजर आना।.
    दांतों में कमजोरी।.
    मुंह के अंदर गांठ जैसा अनुभव होना, इसमें होने वाला दर्द।.
    निगलने में कठिनाई या दर्द।.
    मुंह से अक्सर बदबू आते रहने की समस्या।.

    मुंह का कैंसर कैसे चेक किया जाता है?

    शुरुआत में डेंटिस्ट आपके माउथ कैंसर का पता लगा सकते हैं..
    जीभ या मुंह में धब्बे होना.
    मुंह में छाले और गर्दन में गांठ महसूस होना.
    कई बार मसूड़े मोटे हो जाते हैं.
    दांत ढीले होने लगते हैं..
    कैंसर होने पर मुंह से खून आता है.
    माउथ कैंसर में कान में दर्द रहता है.
    जबड़े में सूजन आ जाती है.

    मुंह कैंसर की प्रारंभिक अवस्था कैसे दिखते हैं?

    1- कैंसर की शुरुआत में मुंह के अंदर सफेद छाले या छोटे-छोटे घाव हो जाते हैं। वहीं, इन पर समय से ध्यान नहीं दिया गया तो आगे चलकर मुंह का कैंसर बन जाता है। 2- मुंह से दुर्गंध आना, आवाज में बदलाव होना, कुछ निगलने में तकलीफ होना आदि मुंह के कैंसर के लक्षण होते हैंमुंह का कैंसर मुंह के अंदर कहीं भी हो सकता है।

    मुंह का कैंसर कितने दिन में पता चल जाता है?

    एक्सपर्ट कहते हैं कि मुंह के असामान्य कैंसर सेल्स ट्यूमर का रूप ले सकते हैं. यदि आपको दो सप्ताह से ज्याद मुंह के अंदर ऐसी शिकायतें दिख रही हैं तो डेंटिस्ट या डॉक्टर से संपर्क करें. डॉक्टर शरीर में दिख रहे लक्षणों और संकेतों की जांच कर बीमारी का पता लगाएगा.