सीताफल बहुत ज्यादा खाने से क्या होता है? - seetaaphal bahut jyaada khaane se kya hota hai?

Side Effects Of Custard Apple: सीताफल खाने के इन गंभीर नुकसान को नहीं जानते होंगे आप, ज्यादा खाने वाले हो जाएं सावधान

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  1. अपच की समस्या अगर आप पेट से जुड़ी किसी भी समस्या से जूझ रहे हैं तो आपको गलती से भी सीताफल का सेवन नहीं करना चाहिए।
  2. स्किन एलर्जी की समस्या
  3. उल्टी होने की समस्या
  4. बीज खाने से होने वाली समस्या

सीताफल कब नहीं खाना चाहिए?

इसे सुनेंरोकेंअगर अक्सर पाचन से जुड़ी समस्या रहती है, तो आपको ग़लती से भी शरीफा नहीं खाना चाहिए। शरीफे में फाइबर काफी ज़्यादा मात्रा में होता है।

सीताफल खाने के क्या फायदे और क्या नुकसान है?

सीताफल के फायदे – Benefits of Custard Apple (Sitafal) in Hindi

  1. स्वस्थ वजन के लिए
  2. अस्थमा के लिए
  3. हार्ट अटैक के खतरे को रोकने के लिए
  4. पाचन स्वास्थ्य के लिए
  5. डायबिटीज के उपचार में
  6. ब्लड प्रेशर को कम करने के लिए
  7. कोलेस्ट्रोल को कम करने में
  8. एनीमिया को ठीक करने में

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सीताफल को कैसे खाना चाहिए?

इसे सुनेंरोकेंपतझड़ के मौसम (autumn season) की शुरुआत सबके चहेते सीताफल के आगमन के साथ होती है। खाने में थोड़ा ट्रिकी है लेकिन ये फल बहुत स्वादिष्ट है। डायरेक्ट खाने के साथ-साथ आप इसका स्मूदी, आइस क्रीम और शेक के रूप में भी सेवन कर सकते हैं। इसे भारत में कई नामों से जाना जाता है जिनमें सबसे लोकप्रिय शरीफा और सीताफल हैं।

सीताफल खाने के बाद क्या नहीं खाना चाहिए?

खाने के तुरंत बाद चाय और पानी नहीं पीना चाहिए

  • खाने के बाद स्‍मोकिंग करना सबसे ज्‍यादा खतरनाक होता है
  • अगर इन बातों का ध्‍यान रखा जाए तो भोजन से पूरा पोषण म‍िलेगा
  • रात में सीताफल खाने से क्या होता है?

    इसे सुनेंरोकेंसीताफल का इस्तेमाल कफ दोष को ठीक करने के लिए, खून की मात्रा को बढ़ाने के लिए, उल्टी, दांतों के दर्द से आराम पाने के लिए किया जाता है। इसके साथ ही इसका प्रयोग अन्य रोगों में भी होता है।

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    सीताफल से शुगर बढ़ती है क्या?

    इसे सुनेंरोकेंएक मधुमेह रोगी को कैसे खाना और कितना खाना चाहिए शरीफा यह कहना सुरक्षित है कि मधुमेह रोगी शरीफा खा सकते हैं। अगर रोजाना कम मात्रा में इसका सेवन किया जाए, तो कस्टर्ड एप्पल मधुमेह में फायदेमंद साबित हो सकता है। यह एक मीठा फल है लेकिन इसका ग्लाइसेमिक लोड कम होने के कारण यह बहुत अधिक प्रभाव नहीं डालता है।

    सीताफल खाने से शुगर बढ़ती है क्या?

    इसे सुनेंरोकेंअगर आपका ब्लड ग्लूकोज़ या ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल में है तो आप सीताफल का सेवन कर सकते हैं।। कुछ समय पहले बिलासपुर यूनिवर्सिटी द्वारा एक रिसर्च पेपर प्रकाशित किया गया। इस रिसर्च के अनुसार शरीफा के बीजों में ऐसे गुण पाए जाते हैं जो कैंसर और डायबिटीज जैसी बीमारियों का रिस्क कम करते हैं के खतरे को कम करते हैं।

    सीताफल खाने से क्या लाभ होता है?

    सीताफल या शरीफा के और फायदे | Other health benefits of sitaphal

    • शरीफा या सीताफल में मैग्नीशियम होता है. मैग्नीशियम शरीर में पानी के संतुलन को बनाए रखने में मददगार होता है.
    • दांतों के लिए भी शरीफा या सीताफल फायदेमंद है.
    • सीताफल में सोडियम और पोटेशियम होते हैं, जो ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखने में मददगार हैं.

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    सीताफल खाने के कितनी देर बाद पानी पीना चाहिए?

    इसे सुनेंरोकेंअगर आपने फल खाया है तो कायदे से आपको एक घंटे के बाद आपको पानी पीना चाहिए। इससे आपको कोई समस्या नहीं होगी।

    कौन कौन से फल एक साथ खाना चाहिए?

    इसे सुनेंरोकेंडॉक्टर्स कहते हैं कि कुछ फलों को एक साथ खाने की गलती कभी नहीं करना चाहिए. पपीता और नींबू- डॉक्टर पपीते और नींबू को एक डेडली कॉम्बिनेशन मानते हैं.

    सीताफल खाने का सही समय क्या है?

    इसे सुनेंरोकेंसीताफल कब खाना चाहिए? – Quora. सीता फल ठंड में पाई जाती है ये फल सबसे कम मिलने वाला है यह सिर्फ 1 महीना ही पायी जाती है तो इसको इसी समय खा सकते है । अगर आपको है जवाब अच्छा लगा हो तो इसे उप्वॉय करे धन्यवाद ।

    सीताफल खाने के फायदे, नुकसान, बालों के लिए, स्वास्थ्य के लिए, त्वचा के लिए, बीज के फायदे, खाने का तरीका [Custard Apple Health Benefits, Side Effects in Hindi] (Benefits for Skin, Pregnancy, Hair, Cancer, Babies and Diabetes)

    सीताफल या शरीफा उपशीतोष्ण फल है. यह अन्नोसीए प्रजाति का फल है, और अपने आकार के और फल के ऊपरी त्वचा के खुरदुरे उभार इसे बिल्कुल अलग ही पहचान प्रदान करते है. सफ़ेद रंग का इसका गूदा मलाईदार, दादानेर और दही की तरह गीला होता है, तथा इसके काले रंग के बीज होते है. इस फल का व्यास 8 सेंटीमीटर होता है. इसका आकार अनियमित गोल, हृद्य के आकार का होता है. इस फल का बाहरी आवरण काफी कड़ा और पतला होता है. यह फल ज्यादातर वेस्टइंडीज. केन्द्रीय अमेरिका, पेरू, मेक्सिको में होता है.

    सीताफल बहुत ज्यादा खाने से क्या होता है? - seetaaphal bahut jyaada khaane se kya hota hai?

    Table of Contents

    • सीताफल के बारें में सम्पूर्ण जानकारी
      • सीताफल का इतिहास (Custard Apple History)
      • सीताफल के प्रकार (Types of Custard Apple)
        • गुलाबी बृहद आकार का –
        • अफ्रीकन प्राइड –
        • लेट गोल्ड –
        • गेफनर–
        • हिलेरी सफेदी –
      • सीताफल के पोषणकारी अवयव (Nutritional components)
      • सीताफल खाने के फायदे  (Health Benefits of Custard Apple in Hindi)
        • वजन बढाने के लिए
        • रोगों से प्रतिरक्षा के लिए
        • ह्रदयघात से बचने के लिए
        • कमजोरी दूर और ऊर्जा भरपर
        • आँखों की सुरक्षा
        • मानसिक व्यग्रता
        • दांत और मंसूड़ो के लिए
        • अलर्जिक घाव
        • बालों की सुरक्षा
        • डिसेंट्री
        • गर्भ धारण के समय
        • त्वचा के लिए
        • डायबिटीज के लिए
        • कैंसर के लिए
        • वजन कम करने के लिए
        • बच्चों के लिए
      • सीताफल के कुछ अन्य फायदे
      • सीताफल के बीज के फायदे
      • सीताफल खाने में सतर्कता (Precaution)
      • सीताफल से नुकसान
      • सीताफल में मौजूद पोषक तत्व एवं मात्रा
    • FAQ

    सीताफल के बारें में सम्पूर्ण जानकारी

    सीताफल का इतिहास (Custard Apple History)

    सीताफल का पैराणिक किंवदतियों में उल्लेख किया गया है. कुछ धर्मग्रंथों में इस बात का उल्लेख है कि राजा दशरथ ने जब राम को पत्नी मोह में आकर जंगलों में रहने भेज दिया था, उस समय राम सीता के लिए ये फल लाते थे. सीता को यह फल प्रिय था, इसलिए इस फल को सीताफल कहते हैं. हालंकि पैराणिक नाम से ऐतिहासिक सत्य सिद्ध नहीं किया जा सकता है. वानस्पति शास्त्र से जुड़े लोगों का कहना है कि शीत काल में इस फल की पैदावार होने के कारण लोग इसे सीताफल कहते है, दूसरा एक मेडिकल कारण भी है कि इस फल के अधिक सेवन से भी सर्दी जुकाम हो सकता है इसलिए भी लोग इसे सीताफल कहते है.

    सीताफल के प्रकार (Types of Custard Apple)

    यह फल कई प्रकार के होते हैं –

    गुलाबी बृहद आकार का –

    इसका आकार काफी बड़ा होता है और ये सबसे ज्यादा स्वादिष्ट होता है. इस फल को पिंक आस्ट्रेलिया के रहने वाले एक सज्जन के नाम पर रखा गया. पिंक महाशय ने ही इस फल को आस्ट्रेलिया में लाया था.

    अफ्रीकन प्राइड –

    यह दस फीट लंबा पेड़ होता है और इसमें सीताफल का आकार भी छोटा होता है. यह पिंक सीताफल की अपेक्षा ज्यादा बीजों वाला होता है.

    लेट गोल्ड –

    नरम त्वचा के साथ ये सुनहरा सीताफल काफी दुर्लभ होता है. यह प्रजाति उत्तरी नदियों के आसपास होती है.

    गेफनर–

    यह प्रजाति इस्ररायल में होती है. इसका स्वाद सबसे अलग और विशिष्ट होता है.

    हिलेरी सफेदी –

    यह औसत आकार का नरम त्वचा वाला सीताफल है.

    सीताफल के पोषणकारी अवयव (Nutritional components)

    सीताफल में कई प्रकार के पोषणकारी खनिज पदार्थ होते है. ये खनिज पदार्थ शरीर के लिए काफी अच्छे होते हैं.

    • विटामीन सी – सीताफल में विटामिन सी की अधिकता रहती है जो कि रोगों की प्रतिरक्षा करता है.
    • विटामिन ए – सीताफल में मौजूद विटामिन ए स्कीन और हेयर के लिए तो अच्छा होता ही है परन्तु आँखों के लिए भी लाभदायक है.
    • पोटैशियम आपको उर्जा प्रदान करता है.
    • मैगनेशियम शरीर के पीएच लेवल को संतुलित रखता है
    • कॉपर दस्त को दूर करता है
    • फाइबर आसानी से भोजन को पचाने में काम आता है.

    सीताफल खाने के फायदे  (Health Benefits of Custard Apple in Hindi)

    वजन बढाने के लिए

    अगर आप अपने फिगर के लिए परेशान है तो सीताफल के नियमित सेवन से आपके व्यक्तित्व में निखार आयेगा. इसमें मैगनीज और सुगर होने के कारण ये आपके शरीर को प्राकृतिक रूप से विकसित करता है और इसमें कोई हानि भी नहीं है. नियमित लेकिन नियंत्रित मात्रा में सीताफल के सेवन से शरीर वजन बढ़ने पर भी विकृत नहीं होगा.

    रोगों से प्रतिरक्षा के लिए

    प्राकृतिक एन्टीऑक्सीडेंट विटामिन के लिए सीताफल एक अच्छा स्रोत है, यह इम्यून सिस्टम को बढ़ाता है और इसके लगातार सेवन से आप शरीर में कई हानिकारक रैडिकल विषाणुओं के साथ लड़ सकते हैं. इसके नियमति सेवन से कई प्रकार की बीमारियों से बचा जा सकता है.

    ह्रदयघात से बचने के लिए

    सीताफल में पर्याप्त मात्रा में उपल्बध पोटेशियम एवं मैग्नेशियम ह्रदय को स्वस्थ रखने के लिए फायदेमंद है. ये ह्रदय आघात से सुरक्षित रखते है. सीताफल  में उपलब्ध फाइबर और प्रोटीन की पर्याप्त मात्रा रक्त चाप को कम करती है एवं कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करके हृदयाघात से प्रतिरक्षा करती है.

    कमजोरी दूर और ऊर्जा भरपर

    शरीर में पानी की मात्रा को यानि पीएच स्तर को बराबर रखने के लिए सीताफल एक आवश्यक आहार है. इसके सेवन से घुटनों की तकलीफ में आराम मिलता है. इसमें उपलब्ध मैग्नीशियम शरीर की कमजोरी एवं शिथिलता को दूर करता है.

    आँखों की सुरक्षा

    आँखो के लिए सीताफल का सेवन बहुत ही लाभदायक है, क्योंकि इसमें उपलब्ध विटामिन ए, विटामिन सी एवं आवश्यक राइबोफ्लेविन के कारण यह नेत्रशक्ति को संतुलित करता है और बढ़ाता है. इसके अलावा यह आँखों की कई बीमारियों से सुरक्षा भी प्रदान करता है.

    मानसिक व्यग्रता

    सीताफल में उपलब्ध न्यूरोन संबंधी तत्व मानसिक कोशिकाओं को आराम पहुंचाते है. तनाव, अवसाद और मानसिक रूप से परेशानी के लिए यह रामबाण है.

    दांत और मंसूड़ो के लिए

    सीताफल में उपलब्ध कैल्सियम दांत और मसूड़ों के लिए बहुत अधिक लाभदायक होता है. कैल्शियम से दांत मजबूत होते है. इस पेंड़ की बाहरी त्वचा से प्राप्त टैन के कारण गम्स और दाँतों को मजबूती मिलती है. इससे दाँतों को साफ रखने के लिए पाउडर भी बनाया जाता है. दाँतों में व्यथा होने पर भी लोग इसका उपयोग करते हैं. लगातार इससे मंजन करने पर मुंह की बदबू भी गायब हो जाती है.

    अलर्जिक घाव

    सीताफल के पत्ते या पेड़ की छाल से शरीर में विषाणु या जीवाणु के असर से होने वाले फुन्सी फोडे को भी इससे ठीक किया जाता है. पुल्टिस बनाने के लिए इसके पेड़ की छाल को पीसकर उसमें नमक मिलाकर अप्लाई किया जाता है. घरेलू उपचार में काफी काम आता है.

    बालों की सुरक्षा

    सीताफल से आप अपने बालों की रक्षा भी कर सकते हैं. आप दूध के साथ इसके बीज को कूटकर मिलाकर लेप बना लें. लेप तैयार होने के बाद आप इसे सिर पर लगायें. ध्यान रहे कि ये लेप आँख में न जायें.

    डिसेंट्री

    कब्ज या दस्त में कच्चे सीताफल के सेवन से राहत मिलती है. कच्चे सीताफल के गूदा को धूप में सूखा कर संरक्षित भी रख सकते है. दस्त से त्रस्त होने पर आप इसके सूखे गुदे को पानी में भिगोकर इसका सेवन कर सकते हैं.

    गर्भ धारण के समय

    गर्भावस्था में महिलाओं का अधिकतर जी मतला जाता है, उल्टी होती है. इस अवस्था में सीताफल का सेवन बहुत फायदेमंद होता है. इससे न सिर्फ उल्टी आना बंद होती है बल्कि मानसिक बेचैनी से भी आराम मिलता है और शारीरिक शिथिलता भी कम होती है. बच्चा जनने के बाद सीताफल के सेवन से बच्चों के पिलाये जाने वाले दूध में बढ़ोत्तरी होती है. इसके अलावा सीताफल में शक्कर की मात्रा बहुत अधिक है जिससे कि आप अपने वजन को सही मात्रा में संतुलित रख सकते है. इससे किसी प्रकार की हानि नहीं है.

    त्वचा के लिए

    सीताफल त्वचा को स्वस्थ बनाए रखता है। क्योंकि इसमें भरपूर मात्रा में विटामिन ए और एंटीऑक्सिडेंट्स पाया जाता है। जिसके कारण आपकी त्वचा हमेशा नरम और सुंदर बनी रहेगी। इसमें मौजूदा एंटीऑक्सिडेंट् आपकी त्वचा पर कभी भी झूरिया नहीं आने देते हैं। इससे आपकी त्वचा में दिखने वाले बढ़ापे के लक्षण नहीं दिखाई देते। साथ ही त्वचा में लचीलापन बरकरार रखता है। इसी के कारण लोग इसे खाना पसंद करते हैं।

    डायबिटीज के लिए

    सीताफल डायबिटीज को कंट्रोल करने में काफी मददगार साबित होता है। इससे युक्त फाइबर आपको टाइप 2 डायबिटीज से बचाता है। सीताफल आपके शरीर में शुगर लेवल को बढ़ने से रोकता है जिसके कारण आपको डायबिटीज का खतरा कम हो जाता है।

    कैंसर के लिए

    सीताफल पर एक अध्यन में सामने आया है कि, इसमें ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जिससे कैंसर को रोका जा सकता है। ये बढ़ते कैंसर के विकास की रोकथाम करता है। इसमें एसिटोजिनिन और एल्कोनॉइड होता है, जो ट्यूमर की कोशिकाओं का विकास रोकता है। जिसके कारण आप इसके सेवन से अपने शरीर में बढ़ते कैंसर को रोक सकते हैं।

    वजन कम करने के लिए

    सीताफल आपको वजन कम करने के लिए भी काफी कारगार साबित होता है। इससे आपका बढ़ता फैट कंट्रोल होता है। जिसके कारण आपका वजन आसानी से कम होना शुरू हो जाता है। इसे लोग अपनी डाइट में भी शामिल करते हैं। इसका सेवन आप रोजाना करें अगर नहीं कर पाए तो हफ्ते में दो बार जरूर करें इससे आपके वजन में काफी अंतर आपको दिखाई देगा।

    बच्चों के लिए

    सीताफल बच्चों के दिमाग को तेज करने के लिए काफी अच्छा होता है। इससे बच्चों की दिमाग की कोशिकाओं का विकास करता है। जिसके कारण बच्चों के दिमाग का विकास काफी तेजी से होता है इसलिए बच्चों को सीताफल जरूर खिलाएं।

    सीताफल के कुछ अन्य फायदे

    • मासिक धर्म के समय स्वस्थ रक्त का प्रतिसंचार
    • कीड़ों के काटने पर छीलन को पीस कर लगाने से उपचार
    • पेड़ों के पत्ते से घाव को ढ़कने पर बैक्टियरिया का न फैलना
    • व्यवहारिक तौर पर चिड़चिड़ापन दूर करने के लिए भी सीताफल का लगातार सेवन फायदेमंद होता है. इसमें मौजूद विटामिन बी कंपलेक्स आपके नाभि को शीतल करता है और मानसिक व्यग्रता से राहत देता है.
    • रक्त अल्पता से बचने के लिए भी आप इसका सेवन कर सकते हैं. इसके खाने से आपके शरीर में रक्त संचार भी दुरूस्त रहता है.
    • सीताफल के लगातार सेवन से गठिया रोग से आराम मिलता है. बुढ़ापे के इस रोग से जीवन काफी कष्टप्रद हो जाता है, इसलिए इसका सेवन अधिक उम्र के लोगों के लिए अच्छा होता है.
    • शरीर में मौजूद शर्करा की मात्रा को सामय् रखने के लिए इसका सेवन आवश्यक होता है. शुगर को एवर्जाब करके सीताफल ये काम करता है.

    सीताफल के बीज के फायदे

    सीताफल के बीज के फायदे कई हैं उनमें से एक है बालों के लिए फायदे। इसके बीज से निकाला गया तेल आपके बालों को अलग मॉइस्चर देता है जिससे आपके बाल हेल्दी और उनकी ग्रोथ अच्छी बनी रहती है। इसके बीज के तेल का इस्तेमाल करने से बालों को झड़ने, डैंड्रफ, स्केलप में होने वाली सूजन आदि समस्याओं से छुटकारा मिल सकता है। इसमें विटामिन सी, कॉपर और आयरन होता है जो आपके बालों को स्वस्थ बनाने में मदद करता है।

    सीताफल खाने में सतर्कता (Precaution)

    • सीताफल का सेवन करने से पहले उसे अच्छी तरह से धो ले.
    • खाते समय छिलके और बीज को ध्यान से देखकर खायें. इसमें टॉक्सिक तत्व होते हैं.
    • मधुमेह के रोगी इसे न खायें या फिर चिकित्सक की सलाह लें.
    • बाहरी उपयोग के लिए एक बार आयुर्वेद डॉक्टर से सलाह लें.

    सीताफल से नुकसान

    • सीताफल में फाइबर सबसे ज्यादा पाया जाता है। साथ ही इससे शरीर में आयरन बढ़ जाता है, जिसके कारण आपके पेट की समस्या सबसे ज्यादा बढ़ सकती है। जैसे- दस्त, गैस, पेट दर्द, उल्टी आदि की समस्या पैदा हो सकती है। इसलिए इसका सेवन करें लेकिन मात्रा में रहकर इससे आपको कभी नुकसान नहीं होगा। इसलिए सेवन करने से पहले इस बात का ध्यान रखें की आयरन ज्यादा ना हो।
    • जितना सीताफल स्वास्थय के लिए अच्छा होता है, उतने ही इसकी बीज जहरीले होते हैं, क्योंकि इसके सेवन से आपको कई तरह की परेशानियां पैदा हो सकती है इसलिए इसके बीज खाने से बचें।
    • सीताफल का सेवन यदि ज्यादा किया जाता है तो उससे सर्दी ज़ुकाम जैसी समस्या का सामना करना पड़ सकता है. इसलिए इसे एक सीमा में खाएं.
    • जिन लोगों को एलर्जी की परेशानी है वो सीताफल के सेवन से बचे। क्योंकि अगर आप इसका सेवन बार बार करेगें तो आपको दिक्कत और ज्यादा बढ़ सकती है।
    • अगर आपको किसी तरह की कोई परेशानी है और आप उसकी दवाई ले रहे हैं तो सबसे पहले आप डॉक्टर की सलाह लें, उसके बाद ही सीताफल का सेवन करें क्योंकि हो सकता है आपको ये नुकसान पहुंचाएं।

    सीताफल में मौजूद पोषक तत्व एवं मात्रा

    पोषक तत्वोंमात्रामौलिक संघटकप्रोटीन5.2 ग्रापानी183 ग्राएश1.9 ग्राकैलोरीकुल कैलोरी235कार्बोहाइड्रेट से कैलोरी213वसा से कैलोरी6.1प्रोटीन से कैलोरी17कार्बोहाईड्रेटकुल कार्बोहाइड्रेट59 ग्राफाइबर आहार11 ग्रा                         वसा और फैटी एसिड कुल वसा725 मिलीग्रामसंतृप्त वसा120 मिलीग्राममोनोसैचुरेटेड वसा285 मिलीग्रामपॉलीअनसेचुरेटेड वसा100 मिलीग्रामओमेगा -6 फैटी एसिड100 मिलीग्रामविटामिनविटामिन ए15 IUविटामिन सी91 mgथायमिन275 mcgराइबोफ्लेविन283 mcgनियासिन2.2 mgविटामिन बी -6500 mcgफोलेट35mcgपैंटोथैनिक एसिड565 mcgखनिजकैल्शियम60 मिलीग्रामलोहा1.5 मिलीग्राममैग्नीशियम53 मिलीग्रामफास्फोरस80 मिलीग्रामपोटैशियम618 मिलीग्रामसोडियम23 मिलीग्रामजस्ता250 मिलीग्रामतांबा215 मिलीग्रामसेलेनियम1.5 मिलीग्राम

    FAQ

    Q : सीताफल में कौन से विटामिन पाए जाते हैं ?

    Ans : विटामिन सी, विटामिन ए, पोटेशियम, मैगनीशियम आदि।

    Q : सीताफल के बीज के फायदे क्या हैं ?

    Ans : सीताफल के बीज बालों के लिए काम आते हैं इससे तेल निकालकर बालों में लगाने से बाल अच्छे हो जाते हैं।

    ज्यादा सीताफल खाने से क्या होता है?

    इसलिए अगर इसका सेवन ज़्यादा कर लिया जाए, तो पेट दर्द, दस्‍त, गैस, आंतों में जकड़न जैसी परेशानियां शुरू हो सकती हैं। 3. शरीफे यानी सीताफल जितना खाने में मज़ेदार और फायदेमंद होता है, इसके बीज उतने ही ज़हरीले होते हैं। इसलिए इसे खाते समय बीज का ध्यान रखना ज़रूरी है, क्योंकि यह सेहत को नुकसान पहुंचा सकते हैं।

    सीताफल खाने से क्या वजन बढ़ता है?

    1- वजन घटाने में मदददार- सीताफल फाइबर से भरपूर होता है. वजन घटाने वाले लोगों के लिए ये अच्छा फल है. इसमें कैलोरी काफी होती है लेकिन फाइबर अधिक होने की वजह से इससे पेट काफी देर तक भरा रहता है. ऐसे में आप ज्यादा खाने से बचते हैं.

    सीताफल खाने के क्या फायदे और क्या नुकसान है?

    यह आम फलों की तरह ही एक स्वादिष्ट फल है, जिसको लोग बड़ी पसंद से खाते हैं। सीताफल का इस्तेमाल कफ दोष को ठीक करने के लिए, खून की मात्रा को बढ़ाने के लिए, उल्टी, दांतों के दर्द से आराम पाने के लिए किया जाता है। इसके साथ ही इसका प्रयोग अन्य रोगों में भी होता है।

    खाली पेट सीताफल खाने से क्या होता है?

    ब्लड प्रेशर को कम करने के लिए सीताफल में कुछ मात्रा मैग्नीशियम और कैल्शियम मौजूद होता है (1)। अगर किसी को हाई ब्लड प्रेशर की समस्या है, तो सीताफल में मौजूद कैल्शियम और मैग्नीशियम के सेवन के जरिए उसे कुछ हद तक ठीक किया जा सकता है। यह हाई ब्लड प्रेशर के कारण हृदय रोग और स्ट्रोक के खतरे को भी कम कर सकता है (10)।