विषयसूची मापन की कितनी पद्धतियां हैं?इसे सुनेंरोकेंइसी प्रकार ऊष्मा तथा प्रकाश संबंधी राशियों के मात्रक निर्धारित करनें के लिए क्रमशः ताप तथा ज्योति-तीव्रता को मूल राशि माना जाता है। इस प्रकार भौतिकी के अध्ययन के लिए कुल छः राशियाँ ‘मूल राशियाँ’ मानी जाती हैं- (1) लंबाई, (2) द्रव्यमान, (3) समय, (4) वैद्युत धारा, (5) ताप, (6) ज्योति-तीव्रता (luminous intensity)। AC के मापन में कौन सी वैल्यू ली जाती है?पुरानी मेट्रिक प्रणाली में कई इकाइयों के समूह प्रयोग किए जाते थे। SI को 1960 में पुरानी मीटर-किलोग्राम-सैकण्ड यानी (MKS) प्रणाली से विकसित किया गया था, बजाय सेंटीमीटर-ग्राम-सैकण्ड प्रणाली की, जिसमें कई कठिनाइयाँ थीं।…इकाइयाँ
मानव वैज्ञानिक दृष्टि से उपयोगिता कैसे मापी जाती है?इसे सुनेंरोकेंवैज्ञानिक दृष्टि से, जब शोध किये गये, तो पता चला, कि कुछ इकाइयां मानक होतीं हैं, जिनसे कि अन्य सभी को व्युत्पन्न किया जा सकता है। पूर्व में यह राज्यों के शासकों द्वारा निर्धारित कर लागू किये जाती थीं। इसलिये ये आवश्यक रूप से सर्वानुकूल, या आपस में सामन्जस्य रखने वाली नहीं होती थीं। मापन पद्धति क्या है? इसे सुनेंरोकेंविज्ञान में विभिन्न राशियों कों मापने के लिये ,उनके मध्य तुलना कराने के लिये ,तथा उनके मध्य कुछ संक्रियायें कराने के लिये हमें मापन की आवश्यकता होती है। भौतिक राशि का उसके उपर्युक्त मात्रक से तुलना करके उसका सटीक मान निकालना ही मापन कहलाता है। मापन की दो विभिन्न पद्धतियां कौन कौन सी है इनकी मापन इकाइयों का उल्लेख कीजिए? इसे सुनेंरोकें: CGS प्रणाली में, सेन्टीमीटर, ग्राम एवं सेकन्ड । FPS प्रणाली में, फुट, पाउन्ड एवं सेकन्ड | MKS प्रणाली में, मीटर, किलोग्राम एवं सेकन्ड । 44 आजकल अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर मान्य प्रणाली “सिस्टम इन्टरनेशनल डि यूनिट्स” है (जो फ्रेंच भाषा में “ मात्रकों की अंतर्राष्ट्रीय प्रणाली ” कहना है ) । मापन की उपयोगिता क्या है?इसे सुनेंरोकेंमापन का महत्त्व जिसे मापा नहीं जा सकता उसे संख्याओं में व्यक्त नहीं किया जा सकता। बिना संख्यात्मक मान के विज्ञान या प्रौद्योगिकी नहीं हो सकती। यदि किसी भौतिक राशि का नियन्त्रण करना है तो उसे मापे बिना सम्भव नहीं है। बिना शुद्धतापूर्वक मापे, किसी राशि का शुद्धतापूर्वक नियन्त्रण भी नहीं हो सकता। आप सभी लोग हमारे इस चैनल Rockvideozone को Subscribe जरूर करे आज के इस पोस्ट के जरिये जानेगे मापने की इकाइयां Unit of Measurement in Hindi कौन कौन सी है, मापने की इकाइयांUnit of Measurement in Hindiकिसी भी मात्रा को या चीज़ को जिस भी शब्द से बताया जाता है उसे उसका मात्रक कहते हैं, जैसे लंबाई का मात्रक मीटर है ! तो चलिये अब इस पोस्ट के जरिये जानेगे मापने की इकाइयां Unit of Measurement in Hindi कौन कौन सी है, जानते है मात्रक एवं मापनराशि ( Quantity) : जिसे संख्या के रूप में प्रकट किया जा सके, उसे राशि कहते हैं । जैसे- जनसंख्या, आयु, वस्तु का भार, मेज की लंबाई आदि । भौतिक राशियां ( Physical Quantities)भौतिकी के नियमों को जिन्हें राशियों के पदों में व्यक्त किया जाता है, उन्हें भौतिक राशि कहते हैं । जैसे- वस्तु का द्रव्यमान, लंबाई, बल, चाल दूरी, विद्युत धारा, घनत्व आदि । भौतिक राशियां के प्रकारभौतिक राशियां दो प्रकार की होती है – अदिश तथा सदिश (1) अदिश ( Scalars) –वे भौतिक राशियाँ, जिनमें केवल परिमाण होता है, दिशा नहीं होती उन्हें अदिश कहा जाता है। जैसे- द्रव्यमान, घनत्व, तापमान, विद्युत धारा, समय, चाल, आयतन, कार्य आदि । (2) सदीश ( Vectors) –वे भौतिक राशियाँ जिनमें परिमाण के साथ-साथ दिशाएँ भी होती है और जो योग के निश्चित नियमों के अनुसार जोड़ी जाती है, उन्हें सदिश कहा जाता है । जैसे- वेग, विस्थापन, बल, रेखीय संवेग, कोणीय विस्थापन, कोणीय वेग, त्वरण, बल आघूर्ण, चुंबकीय क्षेत्र प्रेरण, चुंबकीय क्षेत्र तीव्रता, चुम्बकन तीव्रता, चुंबकीय आघूर्ण, विद्युत तीव्रता, विद्युत धारा घनत्व, विद्युत ध्रुव आघूर्ण, विद्युत ध्रुवण, चाल प्रवणता,ताप प्रवणता आदि । माप के मात्रक/ इकाई ( Units of Measurement)किसी राशि के मापन के निर्देश मानक को मात्रक कहते हैं अर्थात किसी भी राशि की माप करने के लिए उसी राशि के एक निश्चित परिमाण को मानक मान लिया जाता है और उसे कोई नाम दे दिया जाता है ,इसी को उस राशि का मात्रक कहते है, किसी दी हुई राशि की उसके मात्रक से तुलना करने की क्रिया को मापन कहते हैं । मात्रक के प्रकारमात्रक दो प्रकार के होते हैं – (१) मूल मात्रक (२) व्युत्पन्न मात्रक । (1) मूल मात्रक ( Fundamental Units)किसी भौतिक राशि को व्यक्त करने के लिए कुछ ऐसे मानकों का प्रयोग किया जाता है, जो अन्य मानकों से स्वतंत्र होते हैं, इन्हें मूल मात्रक कहते हैं । जैसे- लंबाई, समय और द्रव्यमान के मात्रक क्रमश: मीटर, सेकंड एवं किलोग्राम मूल इकाई है, (2) व्युत्पन्न मात्रक ( Derived Units)किसी भौतिक राशि को जब दो या दो से अधिक मूल इकाइयों में व्यक्त किया जाता है, तो उसे व्युत्पन्न ईकाई कहते हैं । जैसे- बल, दाब, कार्य एवं विभव के लिए क्रमश: न्यूटन, पास्कल, जूल एवं वोल्ट व्युत्पन्न मात्रक है । मात्र पद्धतियां ( System of Units in Hindi)भौतिक राशियों के मापन के लिए निम्नलिखित 4 पद्धतियां प्रचलित है – (1) CGS पद्धति ( Centimetre Gram Second System)इस पद्धति में लंबाई, द्रव्यमान तथा समय के मात्रक क्रमश: सेंटीमीटर, ग्राम और सेकंड होते हैं । इसलिए इसे CGS पद्धति कहते हैं । इसे फ्रेंच या मीट्रिक पद्धति भी कहते हैं । (2) FPS पद्धति ( Foot Pound Second System)इस पद्धति में लंबाई, द्रव्यमान तथा समय के मात्रक क्रमश: फुट, पाउंड और सेकंड होते हैं । इसे ब्रिटिश पद्धति भी कहते हैं । (3) MKS पद्धति ( Metre Kilogram Second System)इस पद्धति में लंबाई, द्रव्यमान और समय के मात्रक क्रमशः मीटर, किलोग्राम और सेकंड होते हैं । (4) अंतर्राष्ट्रीय मानक पद्धति ( S.I. Units)सन् 1960 ईस्वी में अंतरराष्ट्रीय माप- तौल के अधिवेशन में SI को स्वीकार किया गया । वास्तव में ,यह पद्धति MKS पद्धति का ही संशोधित एवं परिवर्तित रूप है । आजकल इसी पद्धति का प्रयोग किया जाता है । इस पद्धति में 7 मूल मात्रक तथा दो संपूरक मात्रक हैं । SI Unit के 7 मूल मात्रक(1) लंबाई का मूल मात्रक ‘मीटर’SI में लंबाई का मूल मात्रक मीटर है । 1 मीटर वह दूरी है, जिसे प्रकाश निर्वात् में 1/299792458 सेकंड में तय करता है । (2) द्रव्यमान का मूल मात्रक ‘किलोग्राम’फ्रांस के सेवरिस नामक स्थान पर माप तोल के अंतरराष्ट्रीय माप-पौल ब्यूरों में सुरक्षित रखें प्लेटटिनम- इरीडियम मिश्रधातु के बने हुए बेलन के द्रव्यमान को मानक किलोग्राम कहते हैं । इसे संकेत में किग्रा(kg) लिखते हैं । (3) समय का मूल मात्रक ‘सेकंड’सीजीएम 133 परमाणु की मूल अवस्था के दो निश्चित ऊर्जा स्तरों के बीच संक्रमण से उत्पन्न विकिरण के 9192631770 आवर्तकालों की अवधि को 1 सेकंड कहते हैं । आइंस्टीन ने अपने प्रसिद्ध ‘सापेक्षता का सिद्धांत’ में समय को चतुर्थ विमा के रूप में प्रयुक्त किया है । (4) विद्युत धारा का मूल मात्रक “एंपियर”यदि दो लंबे और पतले तारों को निर्वात् में 1 मीटर की दूरी पर एक दूसरे के समांतर रखा जाए और उनमें ऐसे परिमाण की समान विद्युत धारा प्रवाहित की जाए जिसे तारों के बीच प्रति मीटर लंबाई में 2×10^-7 न्यूटन का बल लगने लगे तो विद्युत धारा के उस परिमाण को एक एंपियर कहा जाता है । इसका प्रतीक A है । (5) ताप का मूल मात्रक “केल्विन”जल के त्रिक बिंदु के उष्मागतिक ताप के 1/273.16 भाग को केल्विन कहते हैं । इसका प्रतीक K होता है । (6) ज्योति- तीव्रता का मूल मात्रक “कैण्डेला”किसी निश्चित दिशा में किसी प्रकाश स्रोत की ज्योति तीव्रता 1 कैण्डेला तब कहीं जाती है जब यह स्रोत उस दिशा में 540×10^12 हर्ट्ज का तथा 1/683 वाट / स्टीरेडियन तीव्रता का एकवर्णीय प्रकाश उत्सर्जित करता है । (7) पदार्थ की मात्रा का मूल मात्रक “मोल”एक मोल, पदार्थ की वह मात्रा है जिसमें उसके अवयवी तत्वों(परमाणु, अणु ) की संख्या 6.023×10^23 होती है । इस संख्या को ऐवोगाड्रो नियतांक कहते हैं । मात्रक कैसे निर्धारित हुएमूल मात्रक 1971 में माप और तौल की अन्तर्राष्ट्रीय समिति द्वारा पदार्थ की मात्रा की मूल राशि मानते हुए मोल को इसका मूल मात्रक निर्धारित किया गया। इस प्रकार सात भौतिक राशियों लम्बाई, समय, द्रव्यमान, विद्युत धारा, ताप, ज्योति तीव्रता और पदार्थ की मात्रा को ‘मूल राशियाँ’ कहते है।
SI Unit के 2 सम्पूरक मात्रक(1) रेडियन (Radian)किसी वृत्त की त्रिज्या के बराबर लंबाई के चाप द्वारा उसके केंद्र पर बनाया गया कोण 1 रेडियन होता है । इस मात्रक का प्रयोग समतल पर बने कोणों को मापने के लिए किया जाता है । (2) स्टेरेडियन( Steradian)किसी गोले की सतह पर उसकी त्रिज्या के बराबर भुजा वाले वर्गाकार क्षेत्रफल द्वारा गोले के केंद्र पर बनाए गए घन कोण को एक स्टेरेडियन कहते हैं । यह ठोसीय कोणों को मापने का मात्रक है । मूल मात्रक (Fundamental Units)
संपूरक मात्रक (Supplementary Units)
प्रमुख व्युत्पन्न मात्रक ( Derived Units)
दस के विभिन्न घातों के प्रतीक(Symbols for Various Powers of 10)भौतिकी में बहुत छोटी और बहुत बड़ी राशियों के मानों को 10 के घात के रूप में व्यक्त किया जाता है । 10 के कुछ घातों को विशेष नाम तथा संकेत में व्यक्त करते हैं, जो निम्नलिखित है –
मापने की इकाइयांलंबाई (Length)1 माइक्रोमीटर = 1000 नैनोमीटर 1 मिलीमीटर = 1000 माइक्रोमीटर 1 सेंटीमीटर = 10 मिलीमीटर 1 मीटर = 100 सेंटीमीटर 1 डेकामीटर =10 मीटर 1 हेक्टोमीटर = 10 डेका मीटर 1 किलोमीटर = 10 हेक्टोमीटर 1 मेगा मीटर = 1000 किलोमीटर 1 नॉटिकल मील = 1852 मीटर मात्रा मात्रा1 सेंटीलीटर = 10 मिलीलीटर 1 डेसी लीटर = 10 सेंटीलीटर 1 लीटर = 10 डेसीलीटर 1 डेका लीटर = 10 डेसीलीटर 1 हेक्टोलीटर = 10 डेका लीटर 1 किलो लीटर = 10 हेक्टोलीटर क्षेत्र क्षेत्र1 वर्ग फुट = 144 वर्ग इंच 1 वर्ग यार्ड = 9 वर्ग फीट 1 एकड़ = 4840 वर्ग गज 1 वर्गमील = 640 एकड़ क्षेत्रफल (Area)1 वर्ग सेंटीमीटर = 100 वर्ग मिलीमीटर 1 वर्ग डेसीमीटर = 100 वर्ग सेंटीमीटर 1 वर्ग मीटर = 100 वर्ग डेसीमीटर 1 एकड़ = 100 वर्ग मीटर 1 हेक्टेयर = 2.471 एकड़ 1 वर्ग किलोमीटर = 1000 हेक्टेयर भार1 ग्राम = 1000 मिलीग्राम 1 डेकाग्राम = 10 ग्राम 1 हेक्टोग्राम = 10 डेकाग्राम 1 किलोग्राम = 10 हेक्टोग्राम 1 क्विंटल = 100 किलोग्राम 1 टन = 1000 किलोग्राम दूरी1 फीट = 12 इंच 1 मील = 1760 यार्ड 1 फर्लाग = 10 चेन 1 यार्ड (गज) = 3 फीट 1 मील = 8 फर्लाग नॉटिकल / समुद्री दूरी (Nautical/Nautical Distance)1 फैदम = 6 फीट 1 केबुल लेंथ = 100 फैदम 1 नॉटिकल मील = 6080 फीट लंबाई /दूरी के मात्रक 1 किलोमीटर = 1000 मीटर 1 मील = 1.60934 किमी 1 नाविक मील = 1.852 किमी 1 खगोलीय ईकाई = 1.495×10^11 मी. 1 प्रकाश वर्ष = 9.46×10^15 मी. ( 48612 A.U) 1 पारसेक = 3.08×10^16 मी. ( 3.26 प्रकाश वर्ष ) द्रव्यमान के मात्रक1 आउन्स = 28.35 ग्राम 1 पाउण्ड = 16 आउंस ( 453 .52 ग्राम ) 1 किलोग्राम = 2.205 पाउंड या 1000 ग्राम 1क्विंटल = 100 किलोग्राम 1 मीट्रिक टन = 1000 किलोग्राम समय के मात्रक1 मिनट = 60 सेकंड 1 घंटा = 60 मिनट (3600 सेकंड ) 1 दिन = 24 घंटे 1 सप्ताह = 7 दिन 1 चंद्रमास = 4 सप्ताह =28 दिन 1 सौर मास = 30 या 31 दिन (फरवरी 28 या 29 दिन ) 1 वर्ष = 13 मात्रकास 1 दिन = 12 सौर मास= 365 दिन 1 लीप वर्ष = 366 दिन क्षेत्रफल के मात्रक1 एकड़ = 4840 वर्ग गज ( 43560 वर्ग फुट )( 4046.94 वर्ग मीटर ) 1 हेक्टेयर = 2.5 एकड़ 1 वर्ग किलोमीटर = 100 हेक्टेयर 1 वर्ग मील = 2.6 वर्ग किलोमीटर ( 256 हेक्टेयर ) (640 एकड़ ) आयतन के मात्रक1 लीटर = 1000 घन सेंटीमीटर ( 0.2642 गैलन) 1 गैलन = 3.785 लीटर खगोलीय ईकाई (A.U) यह दूरी का मात्रक है । सूर्य और पृथ्वी के बीच की मध्य दूरी खगोलीय इकाई कहलाती है । 1 A.U.= 1.495×10^11 metres
प्रकाश वर्षयह दूरी का मात्रक है । एक प्रकाश वर्ष निर्वात् में प्रकाश के द्वारा 1 वर्ष में चली गयी दूरी है, जो 9.46×10^15 मीटर के बराबर होती है । पारसेकयह दूरी मापने की सबसे बड़ी इकाई है । (1 parsec= 3.08×10^16 m) मात्रक से जुड़े प्रमुख तथ्यKey facts about the unit in Hindi
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मापन की कितनी पद्धतियां होती है?साधारणतया यह पाया गया है कि माप में मुख्य रूप से तीन राशियाँ, लंबाई, भार तथा समय, उपलब्ध होती हैं।
मापन क्या है इसकी कौन कौन सी पद्धतियां है?किसी भौतिक राशि की माप ज्ञात करने के लिए उस भौतिक राशि के एक निश्चित परिमाण (हिस्से) को मानक मान लेते हैं। तथा इस मानक को व्यक्त करने के लिए एक नाम दे देते हैं जिसे मात्रक कहते हैं। तथा इस पूरी प्रक्रिया को मापन कहते हैं।
मापन की दो विभिन्न पद्धतियां कौन कौन सी है इनकी मापन इकाइयों का उल्लेख कीजिए?मापन प्रणाली एक इकाइयों का समूह है, जो कि प्रत्येक उस वस्तु के परिमाण को दर्शाने हेतु प्रयोग होता है, जिसे मापा जा सकता है।. 1 मीट्रिक प्रणाली. 2 इम्पीरियम और U.S. परंपरागत इकाइयां. 3 प्राकृतिक इकाइयां. 4 गैर-मानक इकाइयां ... . 5 मुद्रा की इकाइयां. 6 ऐतिहासिक मापन प्रणालियां. |